रामलीला में कुम्भकरण, मेघनाथ रावण वध का किया गया मंचन
शिवगढ़ (रायबरेली)। शिवगढ़ क्षेत्र के ग्राम पंचायत कोटवा स्थित प्रसिद्ध भैसेश्वर महादेव मन्दिर प्रांगण में लगे चार दिवसीय ऐतिहासिक दशहरा मेले में दूसरे और तीसरे श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। मेले में हजारों की संख्या में मौजूद श्रद्धालुओं एवं दर्शकों की भीड़ से मेला परिसर खचाखच भरा रहा। मेले में आयोजित रामलीला में दूसरे दिन कुम्भकरण, मेघनाथ वध और तीसरे दिन रावण वध किया गया। कुम्भकरण, मेघनाथ, रावण वध देखने के लिए बच्चों, महिलाओं और पुरुषों की उमड़ी भीड़ देखते नहीं बन रही थी। रावण वध होते ही श्रद्धालुओं द्वारा लगाए गए जय श्री राम के नारों से समूचा मेला परिसर गूंज उठा। मेले का आयोजन ग्राम प्रधान ललिता यादव की अध्यक्षता में ग्रामीणों के सामूहिक सहयोग से किया गया। प्रधान प्रतिनिधि अनिल यादव ने जानकारी देते हुए बताया कि भैसेश्वर महादेव मंदिर प्रांगण में सैकड़ों वर्षो से विजयदशमी मेला लगता चला रहा है। आयोजित चार दिवसीय दशहरा मेले में पहले दिन रामलीला में कुम्भकरण वध, दूसरे दिन मेघनाथ वध और तीसरे दिन रावण वध का सफल भव्य मंचन किया जाता है। मेले में क्षेत्रवासियों के साथ ही गैर जनपदों से हजारों श्रद्धालु आते हैं। अनिल यादव ने बताया कि इस वर्ष मेले के पहले दिन अधिक बारिश होने के कारण पहले दिन ठीक तरह से मेला नही लग सका, जिससे मेले में दुकानें लेकर आए दुकानदारों को जहां पहले दिन निराशा हाथ लगी तो वही दूसरे दिन मेले में दर्शकों की उमड़ी भीड़ से दुकानदारों के चेहरे पर खुशी लौट आई। उन्होंने बताया कि चार दिवसीय मेले में 3 दिन जहां दिन में रामलीला रात में नौटंकी का आयोजन किया जाता है। वहीं चौथे दिन विशाल दंगल का आयोजन किया जाता है। जिसमें रायबरेली के साथ ही दिल्ली, बाराबंकी ,अमेठी ,सुल्तानपुर, उन्नाव, प्रतापगढ़ आदि जनपदों के नामी-गिरामी पहलवान आकर अपने दांव पेज दिखाते हैं। मेले में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर पुलिस प्रशासन द्वारा पुख्ता इंतजाम किए गए हैं। इस मौके पर रायपुर नेरुवा प्रधान रतीपाल रावत, थानाध्यक्ष राकेश चंद्र आनंद, निरीक्षक यशवन्त यादव, उप निरीक्षक संतोष यादव, अरविंद सिंह, गंगा शरण ,संतशरण, प्रदीप रामू ,मुकेश, संदीप यादव, राम मिलन यादव सहित हजारों की संख्या में लोग मौजूद रहे।
मेले में आकर्षण का केंद्र बना रहा रावण
मेला प्रांगण में बना विशालकाय रावण लोगों के आकर्षण का केंद्र बना रहा। मेले में आये युवक और बच्चे रावण के पैरों के पास बैठकर सेल्फी लेते एवं फोटो खिचाते नजर आए। प्रधान प्रतिनिधि अनिल यादव ने बताया कि कोलकाता के मशहूर मूर्तिकारों द्वारा रावण का निर्माण किया गया है। अनिल यादव का कहना था कि रावण एक प्रकांड विद्वान था। उसके अन्दर विद्वता की कमी नहीं थी। किंतु उसकी आदतें बुरी थी। उसकी बुरी आदतों की वजह से ही भगवान श्रीराम ने उसका और उसके कुल का संहार किया था।